Shiksha Focus

शिक्षा विभाग का बढ़ा एक्शन, बोर्ड ने रद्द की 500 से अधिक स्कूलों की मान्यता

शिक्षा विभाग का बढ़ा एक्शन, बोर्ड ने रद्द की 500 से अधिक स्कूलों की मान्यता

 

 

 

– बोर्ड ने पिछले वर्ष 15 जुलाई को किया था समय-समय पर स्कूलों की इंस्पेकशन का फैसला

शिक्षा फोकस, पलवल। राज्य में अवैध रूप से चल रहे तथा शिक्षा नियमों का उल्लंघन करने वाले स्कूलों पर एक्शन लिया है। हरियाणा स्कूल एजुकेशन बोर्ड (BSEH) ने शिक्षा नियमों का उल्लंघन कर रहे 500 से अधिक स्कूलों की मान्यता रद्द कर दी है। बोर्ड ने बताया कि गैर मान्यता प्राप्त स्कूलों की लिस्ट के मुताबिक, पलवल, रेवाड़ी और यमुनानगर में अवैध रूप से संचालित स्कूलों की संख्या सबसे अधिक पाई गई है। गैर मान्यता प्राप्त स्कूलों पर व्यापक कार्रवाई शैक्षिक मानक को बनाए रखने और अवैध संस्थानों को संचालित करने से रोकने के प्रयास में की गई है।

कुल कितने स्कूलों पर एक्शन
आगे बोर्ड ने बताया कि कुल 515 स्कूलों जो शिक्षा नियमों की अनदेखी कर धड़ल्ले से स्कूल चला रहे थे, जिस पर बोर्ड ने एक्शन लिया और इनका मान्यता रद्द की। बोर्ड ने बताया कि राज्य में कुल 14,295 सरकारी स्कूल अभी चल रहे हैं।

बोर्ड ने मांगे थे मान्यता के लिए आवेदन
जनवरी 2025 में बोर्ड ने हरियाणा स्कूल शिक्षा नियम 2003 के लागू होने के पहले से चल रहे स्कूलों से एकेडमिक सेशन 2024-25 के लिए साल दर साल, गैर मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों को अनंतिम, अस्थायी संबध्दता के लिए आवेदन मांगे हैं।

किस जिले में कितने गैर मान्यता प्राप्त स्कूल?
गैर मान्यता प्राप्त स्कूलों की लिस्ट में राज्य के कई जिले शामिल हैं- जिनमें भिवानी में 29, फतेहाबाद में 28, गुरुग्राम में 22, झज्जर में 26, कैथल में 35, करनाल में 39, पलवल में 75, रेवाड़ी में 90 और यमुनानगर में 40 स्कूल चल रहे थे।

पिछले साल 15 जुलाई को बोर्ड ने कहा था कि हरियाणा स्कूल एजुकेशन बोर्ड से संबद्ध सभी स्थायी और अस्थायी मान्यता प्राप्त स्कूलों का समय-समय पर बोर्ड ऑफिस द्वारा इंस्पेक्शन किया जाएगा। साथ ही बोर्ड द्वारा निर्धारित नियमों का पालन न करने वाले स्कूलों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की भी चेतावनी दी थी।

क्या है हरियाणा स्कूल शिक्षा के नियम?
हरियाणा स्कूल शिक्षा नियम 30 अप्रैल 2003 को लागू हुआ था, इसमें कहा गया कि राज्य में कोई भी स्कूल निदेशक की पूर्व स्वीकृति या अनुमति के बिना काम नही कर सकता, स्थापित नहीं कर सकता या क्लासेज शुरू नहीं कर सकता। किसी व्यक्ति या व्यक्तियों के संघ या फर्म या समाज या ट्रस्ट या कंपनी द्वारा स्थापित हर एक स्कूल को इन नियमों के मानदंडों का पालन करना होगा।

नियम न मानने वाले प्राइमरी स्कूलों पर 15000 रुपये, मिडिल स्कूलों पर 20000 रुपये और सीनियर सेकेंडरी स्कूलों के मामले में 25000 रुपये से अधिक जुर्माना नहीं लगाया जाएगा। आगे कहा गया कि स्कूल की ओर से किसी भी अवमानना के मामले में स्कूलों के संचालन पर रोक लगाया जा सकता है।